जयपुर। प्रशासन की अनदेखी के कारण भूमाफिया के हौंसले बुलंद है और सरकारी भूमि पर कब्जा कर धड़ल्ले से निर्माण कार्य कर रहे है। अब भूमाफिया भी समय की नजाकत को देखते हुए बाबाओं के रूप में सरकारी जमीन पर धर्म की आड़ लेकर अतिक्रमण करने पर उतर आए है। सीकर जिले से एक भू माफिया कुछ अरसे पहले जयपुर आया और यहां सांगानेर इलाके में बाबा बनकर रहने लगा। सांगानेर में महेन्द्रा सेज के समीप जेडीए की बेशकीमती जमीन पर नजर पड़ी तो उसे हड़पने के लिए धर्म की आड़ लेकर पक्का निर्माण शुरू कर दिया। जब मामले की शिकायत ग्रामीणों ने की तो रहस्य से पर्दा उठा। राजधानी जयपुर के महेन्द्रा सेज के समीप सिरानी गांव में सूरतपुरा रोड पर जेडीए की करोड़ों रूपए की बेशकीमती जमीन को हड़पने के लिए कथित बाबा ने धर्म का सहारा लिया और गौशाला बनाने की आड़ लेकर निर्माण कार्य शुरू कर दिया है। बता दें कि हाल ही में जेडीए की उक्त भूमि में से 4 हजार वर्ग मीटर जमीन राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय सिरानी के खेल मैदान के लिए आवंटित करने का प्रस्ताव लेकर आवंटन किया जा चुका है। जानकारी के अनुसार भापुरा पंचायत के सिरानी गांव के समीप सूरतपुरा रोड पर जेडीए के स्वामित्व की करोड़ों रूपए की जमीन है। ग्रामीणों ने बताया कि खसरा नंबर 556 व 557 पर अवैध रूप से निर्माण कार्य दिन रात किया जा रहा है। ग्रामीणों का आरोप है कि जेडीए की उक्त भूमि में से करीब 3 बीघा जमीन पर भू माफियाओं ने कब्जा कर लिया है और टीनशेड लगाकर पक्का निर्माण कर रहे है जबकि इस संबंध में प्रशासन को अवगत कराने के बावजूद अभी तक कोई ठोस कार्रवाई करना तो दूर की बात, इस मामले में मौके पर जाकर जांच करने की जहमत तक नहीं उठाई गई है जो जिम्मेदार प्रशासनिक अधिकारियों की कार्यशैली पर प्रश्रचिन्ह लगाती है।
जेडीए की चुप्पी से लगा कार्रवाई पर प्रश्रचिन्ह:
सरकारी विद्यालय को आवंटित की गई जमीन पर कब्जा कर अद्र्ध पक्का निर्माण किया जा रहा है तो वहीं दूसरी और जेडीए के जिम्मेदार अधिकारी इस मामले में चुप्पी साधे हुए है। मीडिया में यह मामला उजागर होते ही शुक्रवार को जेडीए दस्ता मौके पर पहुंचा और मामले की जांच की। मगर मौके पर अतिक्रमण हटाने की बजाय जेडीए दस्ता बैरंग लौट गया। इससे जेडीए अधिकारियों की कार्यशैली पर भी प्रश्रचिन्ह लग रहा है।
यह है अतिक्रमण करने वाले बाबा का असली 'राज':
गौशाला और मंदिर बनाने की आड़ में अतिक्रमण करने वाला कालूराम दास बाबा के वेश में जमीन हड़पने की तैयारी कर चुका है। यह कथित बाबा कालूराम दास करीब आठ-दस माह पूर्व सिरानी गांव में सूरतपुरा रोड पर आया और यहां पास ही एक सवा गज का प्लाट लेकर रहने लगा। जब इसकी नजर इस 50 करोड़ रूपए से भी अधिक की बेशकीमती जमीन पर पड़ी तो इसने धर्म की आड़ ली और मंदिर व गौंशाला बनाने की आड़ में कब्जा कर लिया। कब्जा करने के बाद कथित बाबा कालूराम दास ने चारों और तार बाउंड्री लगा दी और टीनशेड लगाकर मैन कुंड पर भगवान शंकर की मूर्ति पर भी स्थापित कर दी जिससे लोगों की धार्मिक भावना जुड़ जाए।
गृहस्थी जीवन को ठाठ से जी रहा है बाबा:
कथित बाबा कालूराम दास सीकर जिले का रहने वाला है। श्रीमाधोपुर तहसील के लिसाडिया गांव का मूल निवासी है जिसके दो पत्नियां बताई जा रही है। जानकारी के अनुसार वह सीकर जिले की श्रीमाधोपुर तहसील के गांव लिसाडिय़ा का रहने वाला है। कथित बाबा कालूराम दास के दो तीन संतान है जिनमें दो लड़कियां और एक लडक़ा है।
लोगों से किया 40 लाख रुपए का चंदा एकत्रित:
कथित बाबा बने कालूराम मीणा ने सिरानी गांव में सूरतपुरा रोड पर न केवल जेडीए की बेशकीमती जमीन पर कब्जा किया बल्कि आसपास के लोगों से लाखों रूपए का चंदा भी एकत्रित किया। जानकारी के अनुसार कथित बाबा कालूराम मीणा ने करीब 40 लाख रुपए लोगों से चंदा एकत्रित किया और पिछले माह 6 जुलाई से 15 जुलाई तक 21 कुंडीय हवन यज्ञ भी कराया। कथित बाबा कालूराम मीणा के अनुसार इन 40 लाखों रूपयों में से 35 लाख रुपए हवन में खर्च हो गए बाकी शेष बचे 5 लाख रुपए में भगवान शंकर की मूर्ति लगवाई और गायों के लिए टीनशेड लगवाए। अब कितने खर्च हुए और कितने बचे यह तो बाबा ही जाने मगर इससे साफ जाहिर होता है कि धर्म के नाम पर बाबा कालूराम दास इस बेशकीमती जमीन को हड़पने की पूरी तैयारी कर चुका है।
इनका कहना है:
यह जमीन जेडीए की है और स्कूल के खेल मैदान के लिए आवंटित की गई है जिस पर अतिक्रमण कर निर्माण कार्य किया जा रहा है, यह गलत है।
-गुलाब देवी गुर्जर, सरपंच
ग्राम पंचायत भापुरा
मैं मौके पर जाकर आया हूं। वह स्वयं अतिक्रमण हटा लेंगे, उनको पाबंद कर दिया है। दो दिन का समय दिया है। नहीं हटाते है तो फिर विधि सम्मत कार्रवाई करके हम अतिक्रमण हटाएंगे।
-त्रिभुवन वशिष्ठ, प्रवर्तन अधिकारी
जयपुर विकास प्राधिकरण जोन-11