जयपुर ग्रेटर निगम में ‘कचरे की सियासत’ गर्म..मिठाई के डिब्बे में कूड़ा; कर्मचारियों का ‘गदर’!

भाजपा-कांग्रेस पार्षदों में धक्का-मुक्की, पुलिस की हुई एंट्री..


लंबे समय बाद बुलाई गई साधारण सभा की बैठक में जमकर हुआ हंगामा, कांग्रेस पार्षदों ने मेयर की टेबल पर मिठाई के डब्बे में कचरा रखकर गंदगी की स्थिति को उजागर करने की कोशिश की

उधर निगम मुख्यालय के बाहर सफाई कर्मचारियों ने अपनी विभिन्न मांगों को लेकर किया धरना प्रदर्शन, बुलानी पड़ी पुलिस और हुआ लाठीचार्ज; मामला शांत होने के आसार नहीं


जयपुर। नगर निगम ग्रेटर में सोमवार को बुलाई गई साधारण सभा की बैठक के दौरान जबरदस्त हंगामा हो गया। इस बैठक में कांग्रेस और बीजेपी के पार्षदों के बीच तीखी बहस और धक्का-मुक्की देखने को मिली। मामला शहर में साफ-सफाई को लेकर शुरू हुआ था। कांग्रस पार्षदों ने मेयर की टेबल पर मिठाई के डब्बे में कचरा रखकर गंदगी की स्थिति को उजागर करने की कोशिश की। इस पर बीजेपी पार्षद भडक़ गए और दोनों पक्षों के बीच जमकर हंगामा हो गया। बैठक दोपहर 1 बजे शुरू होनी थी, लेकिन नगर निगम की मेयर डॉ. सौम्या गुर्जर 1.36 बजे पहुंची। उनके पहुंचने से पहले ही सांसद मंजू शर्मा सदन में मौजूद थीं। जो काफी देर तक मेयर का इंतजार करती रहीं। इस दौरान सांसद मंजू शर्मा ने निगम में बैठने की जगह पर फैली गंदगी को लेकर कड़ी आपत्ति जताई। मंजू शर्मा ने कहा कि यहां धूल-मिट्टी भरी हुई है। उन्होंने तुरंत साफ करने के निर्देश दिए। इस पर नगर निगम कमिश्नर रुक्मणी रियार ने सांसद को आश्वस्त किया कि इसे जल्द ही वहां पर साफ-सफाई करवाएंगी। 
इस दौरान जयपुर ग्रेटर नगर निगम के बाहर भी जबरदस्त हंगामा हुआ। सफाई कर्मचारियों ने अपनी विभिन्न मांगों को लेकर सुबह से ही निगम मुख्यालय के बाहर धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया था। प्रदर्शनकारियों ने निगम के गेट पर कचरा और कीचड़ डाला और तोडफ़ोड़ की। प्रदर्शनकारियों को खदेडऩे के लिए पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। इस दौरान पुलिस के कुछ जवानों को भी चोटें आईं। पुलिस ने 5 सफाई कर्मचारियों को हिरासत में लिया। इस पूरे घटनाक्रम ने नगर निगम की बैठक को विवादित बना दिया। सफाई के मुद्दे पर एक बार फिर से शहर में राजनीति गरमा गई। बीजेपी और कांग्रेस के पार्षदों के बीच टकराव सफाई व्यवस्था और नगर निगम के कामों की पोल खोलने के लिए पर्याप्त है। शहर में सफाई की स्थिति को लेकर नगर निगम में जो हंगामा हुआ है वह न केवल नगर निगम के अंदर बल्कि बाहर भी लोगों के बीच चर्चा का विषय बना है। दरअसल, नगर निगम ग्रेटर में सोमवार यानी लंबे समय बाद बैठक बुलाई गई, जिसमें शहर में सफाई के मुद्दे पर कांग्रेसी पार्षदों ने मेयर के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। बीजेपी पार्षद भी वेल में आ गए। इस दौरान दोनों पक्षों के पार्षदों में धक्का-मुक्की हो गई।


कांग्रेस पार्षद करण शर्मा ने मेयर को दिया मिठाई का डिब्बा, अंदर भरा था कचरा
कांग्रेस के पार्षद कर्ण शर्मा ने मेयर की टेबल पर डिब्‍बा रखा और कहा कि ये मिठाई जनता ने आपके लिए भेजी है। इस डिब्‍बे में मिठाई की जगह कचरा भरा हुआ था। इसे देखते ही लोगों के होश उड़ गए; उन्‍हें लगा कि ये कैसा व्यवहार है। जयपुर ग्रेटर नगर निगम 7वीं साधारण सभा की बैठक में इस घटनाक्रम के अलावा कांग्रेसी पार्षदों ने काली पट्टी बांधकर शहर की बिगड़ी हुई सफाई व्यवस्था पर नाराजगी जताई। सदन में बिना किसी प्रस्ताव पर चर्चा हुए ही बीजेपी और कांग्रेस के पार्षद वेल में आमने-सामने हो गए और जमकर हंगामा किया। सदन को कार्रवाई शुरू होते ही पहले दिवंगत राजनेताओं-हस्तियों को श्रद्धांजलि दी गई और सदन 15 मिनट के लिए स्थगित किया गया।


भाजपा और कांग्रेस के पार्षदों के बीच हुआ टकराव, जमकर हुई बहस और धक्कामुक्की 
निगम ग्रेटर की साधारण सभा की बैठक में हंगामों का दौर जारी रहा। हंगामे को बढ़ते देख मेयर डॉ. सौम्या गुर्जर ने आधे घन्टे पहले बैठक स्थगित की थी। भाजपा और कांग्रेस के पार्षदों के बीच टकराव हुआ और धक्का-मुक्की होती रही। इस पर कांग्रेस पार्षदों ने मेयर के जवाब नहीं देने पर चूड़ी फेंकी। मेयर डॉ. सौम्या की टेबल पर महिला पार्षद की टूटी चूड़ी को फेंका और कहा- जबाव नहीं दे सकते तो इसे पहन लो। इसके बाद कांग्रेस के नाराज पार्षद वेल के आगे धरने पर बैठ गए। वहीं कांग्रेस के कुछ पार्षदों ने टेबल कुर्सी पर चढक़र अपना विरोध जताया। उनका कहना था कि जब तक मेयर हमारे सवालों का जवाब नहीं देगी, तब तक हम अपनी सीट पर वापस नहीं लौटेंगे। कांग्रेस की पार्षद सन्नू चौधरी ने अपने प्रस्ताव पर जवाब मांगा।

बाहर सफाई कर्मचारियों ने की तोडफ़ोड़, पुलिस को करना पड़ा लाठीचार्ज
ग्रेटर नगर निगम मुख्यालय पर सफाई कर्मचारियों ने जमकर तोडफ़ोड़ की। सफाई कर्मचारियों के एकाएक हमला करते हुए पहले मुख्यालय के गेट पर कचरा और कीचड़ फेंका और फिर गेट पर लगे कांच तोड़ दिए। इसमें कुछ पुलिसकर्मियों को चोट भी आई। इसके बाद पुलिस प्रशासन ने बल प्रयोग करते हुए प्रदर्शनकारी सफाई कर्मचारियों को लाठी चार्ज करते हुए यहां से खदेड़ा, साथ ही चार सफाई कर्मचारियों को गिरफ्तार भी लिया। ये सफाई कर्मचारी 29 जनवरी को होने वाले सफाई कर्मचारी चुनाव को स्थगित करने का प्रस्ताव लाए जाने से नाखुश थे।


नगर निगम में हंगामा है बरपा, यूनियन चुनाव में ये है विवाद की जड़
दरअसल, नगर निगम ग्रेटर और हेरिटेज के सफाई कर्मचारी यूनियन के चुनाव का शेड्यूल जारी किया गया था। इस शेड्यूल के तहत 9 कर्मचारियों ने नामांकन पत्र दाखिल किए। शेड्यूल के मुताबिक इन नामांकन पत्रों की जांच 15 जनवरी तक करनी थी और 29 जनवरी को वोटिंग करवाई जानी थी। लेकिन इसी बीच एक मुख्य चुनाव अधिकारी की ओर से एक बैठक की गई, जिसमें विचार हुआ कि अध्यक्ष पद के लिए उम्मीदवारों के विरुद्ध आपराधिक प्रवृति की शिकायतें प्राप्त हो रही हैं, जिनका निस्तारण किया जाना जरूरी है और इस काम में समय अधिक लगने की संभावना है। चूंकि वर्तमान में 16वीं विधानसभा का तीसरा सत्र शुरू हो रहा है, जिससे भी आवश्यक कार्य प्रभावित हो रहे हैं। इसे देखते हुए संयुक्त वाल्मिकी एवं सफाई श्रमिक संघ के चुनाव की आगामी कार्रवाई विधानसभा सत्र तक स्थगित की जाती है। बताया जा रहा है कि इसी निर्णय के विरोध में आज ये कर्मचारी धरने पर बैठे और उग्र हो गए। हालांकि बताया ये जा रहा है कि इस संबंध में अब तक ऑफिशियली आदेश जारी नहीं हुए हैं।